असम की भाजपा सरकार राज्य में एनआरसी लागू करने की कोशिश मेः ममता

दिनहाटा की घटना को लेकर भाजपा की निंदा की

असम की भाजपा सरकार राज्य में एनआरसी लागू करने की कोशिश मेः ममता

राज्य की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने सरकार पर राष्ट्रीय नागरिक रजिस्टर (एनआरसी) लागू करने की कोशिश करने का आरोप लगाया है। उन्होंने भगवा शिविर के खिलाफ साजिश का आरोप लगाया है और सभी विपक्षी दलों को एकजुट होने का संदेश दिया है।

निज संवाददाता.
राज्य की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने सरकार पर राष्ट्रीय नागरिक रजिस्टर (एनआरसी) लागू करने की कोशिश करने का आरोप लगाया है। उन्होंने भगवा शिविर के खिलाफ साजिश का आरोप लगाया है और सभी विपक्षी दलों को एकजुट होने का संदेश दिया है। मंगलवार की सुबह मुख्यमंत्री ने सोशल मीडिया पर पोस्ट किया। वहां उन्होंने लिखा कि कूचबिहार के दिनहाटा निवासी उत्तम कुमार ब्रजबासी के पास वैध पहचान पत्र है, लेकिन असम विदेशी न्यायाधिकरण उन्हें विदेशी या अवैध घुसपैठिया होने के संदेह में परेशान कर रहा है।
तृणमूल के राज्यसभा सांसद और प्रवासी श्रमिक कल्याण बोर्ड के अध्यक्ष समीरुल इस्लाम ने सोमवार को इस मुद्दे पर अपनी बात रखी थी। सोशल मीडिया पर एक पोस्ट में उन्होंने आरोप लगाया कि असम की भाजपा सरकार ने कूचबिहार निवासी उत्तम को एनआरसी नोटिस भेजा है। समीरुल ने दस्तावेज दिखाते हुए कहा कि उत्तम का नाम पहली बार 1966 में मतदाता सूची में दर्ज हुआ था। उन्होंने सवाल उठाया कि उसके बाद असम सरकार ने उस व्यक्ति को एनआरसी का नोटिस कैसे भेजा। समीरुल के बाद इस बार खुद तृणमूल नेता ने इस मुद्दे पर हिमंत बिस्वा सरमा के नेतृत्व वाली असम की भाजपा सरकार पर हमला बोला। दिनहाटा के व्यक्ति का जिक्र करते हुए मुख्यमंत्री ने लिखा, वह 50 साल से अधिक समय से इस बंगाल का निवासी है। वैध पहचान पत्र होने के बावजूद उसे 'विदेशी/अवैध घुसपैठिया' होने के संदेह में परेशान किया जा रहा है। साथ ही उन्होंने भाजपा खेमे पर हमला करते हुए कहा कि यह हमारे लोकतंत्र पर एक सुनियोजित हमला है। इससे साबित होता है कि असम में सत्तारूढ़ भाजपा सरकार पश्चिम बंगाल पर एनआरसी थोपने की कोशिश कर रही है, जहां उनके पास कोई शक्ति या अधिकार नहीं है। दिनहाटा उत्तम राजबंशी समुदाय का निवासी है। ममता ने उस मुद्दे का भी जिक्र किया। सोशल मीडिया पर एक पोस्ट में उन्होंने लिखा कि हाशिए पर पड़े लोगों को डराने, उनके अधिकारों को छीनने और उन्हें निशाना बनाने के लिए एक पूर्व नियोजित गंदी साजिश चल रही है।  इसके बाद मुख्यमंत्री ने भाजपा को चेतावनी देते हुए कहा, अगर भारत के संवैधानिक ढांचे को नष्ट किया गया तो बंगाल चुप नहीं बैठेगा।

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