पंचायत कार्यालय के अंदर निजी ठीकेदार पर दो युवकों ने किया जानलेवा हमला, सुरक्षा पर उठे सवाल
सालानपुर : सालानपुर थाना क्षेत्र के देन्दुआ ग्रामपंचायत कार्यालय दिनदहाड़े एक निजी ठीकेदार को बेरहमी से पिटाई का मामले से सनसनी फैल गई है। जानकारी के अनुसार गुरुवार देन्दुआ ग्राम पंचायत कार्यालय में दो युवकों ने घुसकर एक निजी ठेकेदार देन्दुआ निवासी मधुसूदन दत्ता को बेरहमी से पीटा। इस अचानक हुए हमले से पंचायत परिसर में अफरा-तफरी मच गई । घटना के बाद स्थानीय लोगों ने हंगामा किया। पेशे से निजी ठेकेदार एवं स्थानीय ब्यापारी मधुसूदन दत्ता, के अनुसार देंदुआ पंचायत में अपने नियमित काम के लिए कुछ कागजात लेकर आए थे। इस दौरान दोपहर देबीपुर गांव के दो युवक सभापति घोष एवं रघुपति घोष अचानक कार्यालय में घुस आए और बिना किसी उकसावे के उन पर हमला कर दिया। कुछ ही मिनटों में मैं खून से लथपथ जमीन पर गिर पड़े।
वही हमले के पीछे का कारण अभी तक स्पष्ट नहीं हो पाया है। घायल मधुसूदन दत्ता ने किसी भी तरह की तत्काल दुश्मनी से इनकार किया है। हालांकि, सूत्रों का दावा है कि इस मारपीट की जड़ डेढ़ साल पहले देन्दुआ इलाके में मधुसूदन दत्ता और सभापति घोष के बीच विवाद हुआ था। इसी पुराने विवाद को हमले की वजह बताया जा रहा है।
घटना के बाद स्थानीय लोगों ने पंचायत कार्यालय का काम रोक दिया और विरोध प्रदर्शन के लिए जमा हो गए। पंचायत प्रधान सुप्रकाश माझी ने इस घटना को अत्यंत गंभीर बताया।
प्रधान ने कड़े शब्दों में कहा, "निजी विवाद हो सकती हैं, लेकिन पंचायत कार्यालय जैसे एडमिनिस्ट्रेटिव भवन में घुसकर हमला करना साफ तौर पर जुर्म है। यह बर्दाश्त नहीं की जा सकती।" उन्होंने तुरंत पुलिस को लिखकर घटना की जानकारी दी है।
घायल मधुसूदन दत्ता ने सलानपुर थाने में शिकायत दर्ज कराई है। शिकायत के आधार पर पुलिस ने तुरंत जांच शुरू कर दी है। पुलिस सूत्रों के मुताबिक आरोपी रघुपति घोष की इलेक्ट्रिक स्कूटी को पंचायत कार्यालय के बाहर से ज़ब्त कर लिया गया है।
पुलिस सूत्रों के अनुसार, आरोपियों के खिलाफ कार्यालय में घुसकर हंगामा करने, व्यक्ति को पीटने और सरकारी काम में बाधा डालने जैसी विभिन्न धाराओं के तहत मामला दर्ज किया गया।
इस दिनदहाड़े हमले ने स्थानीय लोगों को पंचायत कार्यालय की सुरक्षा व्यवस्था पर सवाल उठाने पर मजबूर कर दिया है। स्थानीय निवासियों ने आरोप लगाया कि "दिनदहाड़े हमला हुआ, लेकिन कोई सुरक्षा व्यवस्था नहीं है।" उन्होंने पंचायत कार्यालय में सीसीटीवी निगरानी और अतिरिक्त सुरक्षा मुहैया कराने की मांग की है।
फिलहाल, सभी की निगाहें पुलिस जांच पर टिकी हैं।
